Gujarat Police ने पकड़ा करोड़ों का Crypto Scam, जानें ये गेम कैसे चला
Gujarat Police की जांच से खुला राज, भारत से दुबई तक फैला Crypto Scam
Gujarat Police ने एक बड़े साइबरक्राइम सिंडिकेट का पर्दाफाश किया है, जिसमें ₹200 करोड़ की ऑनलाइन ठगी और मनी लॉन्ड्रिंग का मामला सामने आया है। पुलिस ने मोरबी, सुरेंद्रनगर और सूरत जिलों में छापेमारी कर 6 लोगों को गिरफ्तार किया। ये आरोपी 386 से ज्यादा ऑनलाइन स्कैम्स चला रहे थे, जिनमें “डिजिटल अरेस्ट”, फर्जी जॉब ऑफर और म्यूल बैंक अकाउंट्स के ज़रिए ठगी शामिल थी। जांच में खुलासा हुआ कि ठगी का पैसा एंगडिया चैनल्स और क्रिप्टोकरेंसी के माध्यम से दुबई भेजा जा रहा था।

Source: यह इमेज Crypto India की X पोस्ट से ली गई है। जिसकी लिंक यहां दी गई है।
इंटरनेशनल नेटवर्क से जुड़ा साइबर फ्रॉड
पुलिस के अनुसार, यह नेटवर्क इंटरनेशनल साइबरक्राइम रैकेट से जुड़ा हुआ है, जो भारत में आम लोगों को निशाना बनाकर धोखाधड़ी करता था। ठगी का तरीका बेहद संगठित था, पहले फर्जी कॉल या ईमेल के जरिए पीड़ितों को डराया जाता, फिर उन्हें “डिजिटल अरेस्ट” के नाम पर ऑनलाइन पेमेंट करने को मजबूर किया जाता। कई मामलों में जॉब फ्रॉड और फर्जी कस्टमर केयर कॉल्स के ज़रिए भी लोगों से लाखों रुपए ठगे गए। इन पैसों को बाद में “म्यूल अकाउंट्स” में ट्रांसफर कर क्रिप्टोकरेंसी में बदल दिया जाता था, जिससे असली अपराधियों तक पैसे का ट्रेस करना मुश्किल हो जाता था।
दुबई तक पहुंची ठगी की रकम का पूरा ट्रेल सामने आया
Gujarat Police की रिपोर्ट के मुताबिक, आरोपी इस पैसे को दुबई के नेटवर्क तक पहुंचाने के लिए “एंगडिया चैनल” का इस्तेमाल करते थे। यह ट्रेडिशनल अनऑफिशियल ट्रांसफर सिस्टम है, जिसका इस्तेमाल मनी लॉन्ड्रिंग और हवाला में होता है। वहीं, कुछ रकम को क्रिप्टोकरेंसी में बदलकर डिजिटल वॉलेट्स के माध्यम से विदेश भेजा गया। पुलिस अब इन ट्रांज़ैक्शन के डिजिटल ट्रेल की जांच कर रही है, ताकि दुबई स्थित मुख्य ऑपरेटर्स तक पहुंचा जा सके।
भारत में बढ़ते साइबर अपराधों पर बड़ा अलर्ट जारी
यह मामला भारत में तेजी से बढ़ते साइबर खतरों को भी उजागर करता है। राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) की रिपोर्ट के अनुसार, 2023 में साइबरक्राइम मामलों में 31% की वृद्धि दर्ज की गई, जो 86,420 मामलों तक पहुंच गई। इनमें से 2024 में दर्ज शिकायतों में लगभग 85% ऑनलाइन फाइनेंशियल फ्रॉड से संबंधित थीं। वहीं, क्रिप्टोकरेंसी से जुड़े मामलों में भी 2023 की तुलना में 30% की बढ़ोतरी हुई है।
दिन ब दिन Crypto Scam बढ़ता जा रहा है, हाल ही में Kolkata में ₹25 करोड़ का Crypto Scam हुआ था। जिसमें दो लोगों को गिरफ्तार किया गया है। एक्सपर्ट्स के अनुसार, डिजिटल पेमेंट्स और क्रिप्टो के बढ़ते उपयोग के साथ ही ऑनलाइन फ्रॉड के नए तरीके भी सामने आ रहे हैं।
Times of India की रिपोर्ट में बड़ा खुलासा
Gujarat Police द्वारा की गई यह कार्रवाई भारत में साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में एक अहम कदम मानी जा रही है। Times of India की 4 नवंबर 2025 की रिपोर्ट के अनुसार, गिरफ्तार किए गए सभी आरोपी एक अंतरराष्ट्रीय नेटवर्क से जुड़े थे, जो बैंक खातों और क्रिप्टोकरेंसी के जरिए फंड्स को दुबई स्थित सिंडिकेट तक पहुंचाते थे। गुजरात CID की जांच में यह भी सामने आया कि इस ऑपरेशन में “म्यूल अकाउंट्स” का उपयोग कर ठगी से कमाए पैसे को वैध दिखाने की कोशिश की गई थी।
Gujarat Police अब जांच के अगली स्टेज में
यह मामला क्रिप्टोकरेंसी की दोहरी भूमिका को सामने लाता है। एक ओर यह वैध डिजिटल ट्रांज़ैक्शन को आसान बनाती है, तो दूसरी ओर अपराधी इसका इस्तेमाल अवैध गतिविधियों में कर रहे हैं। Gujarat Police अब इस नेटवर्क के अंतरराष्ट्रीय कनेक्शन का पता लगाने में जुटी है।
मेरे 7 साल के क्रिप्टो एनालिसिस अनुभव के आधार पर मैं हूँ की, यह केस दिखाता है कि भारत में डिजिटल फ्रॉड कितनी तेजी से डेवलप हो रहा है। Gujarat Police की कार्रवाई सही दिशा में कदम है, लेकिन जरूरत है कि यूज़र्स खुद भी सतर्क रहें और किसी भी क्रिप्टो ट्रांज़ैक्शन से पहले उसकी सत्यता की जांच जरूर करें।
कन्क्लूजन
Gujarat Police की यह कार्रवाई भारत में साइबर अपराधों और क्रिप्टो फ्रॉड के बढ़ते नेटवर्क पर एक बड़ा अटैक मानी जा रही है। यह केस दिखाता है कि डिजिटल फ्रॉड कितने आर्गनाइज्ड लेवल पर चल रहा है और कैसे क्रिप्टो का दुरुपयोग हो रहा है। अब जांच एजेंसियों की नज़र दुबई स्थित मुख्य ऑपरेटर्स और उनके डिजिटल ट्रेल पर है।
डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सूचना के उद्देश्य से लिखा गया है। इसमें दी गई जानकारी किसी कानूनी या निवेश सलाह के रूप में नहीं ली जानी चाहिए। क्रिप्टोकरेंसी में निवेश या ट्रांज़ैक्शन करने से पहले अपनी पूरी रिसर्च अवश्य करें।
