WazirX की BitGo के साथ Partnership, क्या लाई है एक उम्मीद
क्रिप्टो एक्सचेंज WazirX ने आखिरकार एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। WazirX Hack के बाद महीनों की अनिश्चितता और यूजर्स की बढ़ती नाराज़गी के बीच, क्रिप्टो एक्सचेंज ने अमेरिका-स्थित डिजिटल एसेट कस्टोडियन BitGo के साथ साझेदारी की घोषणा की है। एक्सचेंज ने इसे “रिऑपरेशन की दिशा में एक बुनियादी कदम” बताया है। कंपनी का दावा है कि यह कदम सिर्फ प्रतीकात्मक नहीं बल्कि उनके रीलॉन्च प्लान का व्यावहारिक हिस्सा है, जिसका मुख्य उद्देश्य है सुरक्षा, पारदर्शिता और भरोसे को दोबारा स्थापित करना।
हालांकि, इस घोषणा ने एक नई उम्मीद तो जगाई है, लेकिन यूजर्स की सबसे बड़ी चिंता फंड्स की वापसी अभी भी अधूरी ही लगती है।
BitGo के साथ साझेदारी, कितना मजबूत होगा WazirX का सिक्योरिटी फ्रेमवर्क?
BitGo, डिजिटल एसेट सिक्योरिटी में एक जाना-माना नाम है। यह न केवल वर्षों से क्रिप्टो इंडस्ट्री में एक्टिव है, बल्कि Coinbase, Binance जैसी कई बड़ी कंपनियाँ भी इसकी सर्विसेज पर निर्भर हैं। अब क्रिप्टो एक्सचेंज द्वारा BitGo के साथ हाथ मिलाना एक संकेत है कि वह अपने पुराने ट्रैक रिकॉर्ड को सुधारने के लिए गंभीर है।
WazirX के फाउंडर Nischal Shetty ने कहा, “BitGo के साथ साझेदारी करके हम न केवल फंड्स की सुरक्षा को मज़बूत कर रहे हैं, बल्कि ट्रांसपेरेंसी और एफिशिएंट फंड डिस्ट्रीब्यूशन की प्रक्रिया भी शुरू कर रहे हैं।” यानी, भविष्य में यदि ऑपरेशन्स फिर से शुरू होते हैं, तो यूजर्स की असेट्स बेहतर सिक्योरिटी में होगी।
फंड्स एक्सेस को लेकर अब भी सस्पेंस, क्या यह चुप्पी रणनीति है?
हालांकि यह साझेदारी टेक्निकल व्यू से महत्वपूर्ण है, लेकिन यूजर्स के सबसे अहम सवाल का अब भी जवाब नहीं मिला है, वह यह कि उनके पैसे कब मिलेंगे?
13 मई 2025 को WazirX Court Hearing में मोराटोरियम आगे बढ़ा। बता दे कि क्रिप्टो एक्सचेंज ने सिंगापुर की अदालत में अपने मोराटोरियम एक्सटेंशन की अपील की, लेकिन कोर्ट ने कोई अंतिम फैसला नहीं दिया और 6 जून के लिए अगली सुनवाई तय कर दी। इस बीच, BitGo की घोषणा के बावजूद, ना तो फंड्स रिलीज़ की कोई टाइमलाइन दी गई, ना ही सोशल मीडिया पर कोई अपडेट आया।
WazirX की तरफ से एक ब्लॉग पोस्ट ज़रूर आया, लेकिन ट्विटर या अन्य प्लेटफॉर्म्स पर कोई संवाद नहीं हुआ। यूजर्स का गुस्सा अब धीरे-धीरे संदेह में बदल रहा है। क्या ये चुप्पी सोची-समझी रणनीति है या फिर कुछ छुपाने की कोशिश?

इन आने वाले नियमों के बीच WazirX की दिशा, उम्मीद और दबाव दोनों
भारत सरकार जून 2025 में क्रिप्टो रेगुलेशन लाने की योजना बना रही है। ऐसे समय में WazirX के लिए यह जरूरी हो गया है कि वह खुद को एक जिम्मेदार और ट्रांसपेरेंट एक्सचेंज के रूप में दोबारा स्थापित करे। BitGo के साथ साझेदारी इस दिशा में एक सकारात्मक संकेत हो सकती है, लेकिन केवल “सुरक्षा” की बातें अब काफी नहीं।
WazirX को चाहिए कि वह ठोस एक्शन प्लान पेश करे जैसे कि फंड्स रिलीज़ का टाइमटेबल, कोर्ट प्रक्रिया की रेगुलेटर अपडेट्स और यूजर कम्युनिकेशन में ट्रांसपेरेंसी।
उम्मीद की किरण, लेकिन रास्ता अभी लंबा है
WazirX और BitGo की यह साझेदारी निश्चित रूप से एक पॉजिटिव सिग्नल है। इससे यूजर्स को यह भरोसा हो सकता है कि कंपनी अब सुरक्षा और सिस्टम को मजबूत करने की दिशा में गंभीर है। BitGo के अनुभव से लाभ उठाकर WazirX फंड्स की सेफ कस्टडी सुनिश्चित कर सकता है और लंबे समय में यूजर कॉन्फिडेंस वापस पा सकता है।
लेकिन हमारे अनुसार, यह शुरुआत भर है। यूजर्स को केवल सिक्योरिटी नहीं, बल्कि एक स्पष्ट रोडमैप चाहिए कि उनका पैसा कब और कैसे वापस मिलेगा। WazirX को अब केवल शब्दों से नहीं, बल्कि क्रियाओं से विश्वास अर्जित करना होगा।
कन्क्लूजन
WazirX का BitGo के साथ पार्टनरशिप करना एक साहसिक और जरूरी कदम है, लेकिन यह केवल “सुरक्षा” की गारंटी देता है, “सुलभता” की नहीं। जब तक यूजर्स अपने फंड्स तक पहुंच नहीं पाते, तब तक किसी भी टेक्निकल इम्प्रूवमेंट या साझेदारी का असर अधूरा रहेगा।
आने वाले हफ्ते WazirX के लिए निर्णायक हो सकते हैं, 6 जून की कोर्ट सुनवाई और भारत में लागू होने वाले क्रिप्टो कानून यह तय करेंगे कि WazirX भविष्य में इंडियन क्रिप्टो इकोसिस्टम का हिस्सा बन पाएगा या नहीं।